फर्जी आधार, पैन कार्ड के जरिए सिम कार्ड बनाकर देश भर में करते थे सप्लाई

पुलिस ने कॉल सेंटर पर रेड कर एक महिला समेत 7 आरोपियों को किया गिरफ्तार

बिहार की अंतर्राज्यीय गैंग जो कि हजारों की संख्या में फर्जी आधार, पैन कार्ड, बैंक खाता एवं सिम बनाकर पुरे देश भर में ठगों को सप्लाई करता था। थाना हनुमानगंज पुलिस ने उनके कॉल सेंटर पर रेड कर उनके नेटवर्क को ध्वस्त कर एक महिला समेत 7 आरोपियों को गिरफ्तार किया है सभी पटना बिहार के रहने वाले है। गिरोह आम लोगों के फर्जी आधार कार्ड, पैन कार्ड तैयार कर, सिम लेकर बैंक खाता खुलवाकर करते थे साइबर ठगी। गिरोह फर्जी तरीके से किसी भी व्यक्ति का आधार, पेनकार्ड में अपनी फोटो लगाकर देते है घटना को अंजाम।गिरोह ओपनसोर्स में उपलब्ध सुविधाओं के माध्यम से चैक करते है कि किस आधार कार्ड से पेन कार्ड लिंक है या नहीं। यदि लिंक नही होता है तो उसका पेन कार्ड बना लेते है। पुलिस ने रेड कर आरोपियों के कब्जे से फर्जी रूप से तैयार सेंकडो की संख्या में आधार कार्ड, ATM कार्ड्स, PAN कार्ड्स, सिमकार्ड्स एवं 20 मोबाईल फोन 02 प्रिंटर, 01 लेपटॉप एवं 1 पैनड्राईव व 8 हिसाब किताब की कॉपी की बरामद। गिरोह से एक जैसे फोटो एवं पेन तथा आधार नंबर के कई अलग-अलग नाम के आधार एवं पेनकार्ड हुए बरामद।
गिरोह देश के कई राज्यों के महानगर जैसे मुम्बई, लखनऊ, इंदौर, हैदराबाद, अहमदाबाद आदि में दे चुके है कई घटनाओं को अंजाम।

घटनाक्रम:- 15 नवंबर को पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली थी कि पिछले तीन चार दिन पहले एक लड़की एवं एक लडका मोबाईल की दुकान से अलग अलग व्यक्तियों के अलग अलग नाम पते के आधारकार्ड लेकर सिम लेने आये थे पुलिस ने जांच की तो पता चला कि उक्त लडका एवं लड़की की फोटो एक ही है लेकिन हर बार नाम पता अलग-अलग है। पुलिस को शक हुआ कि फर्जी सिमकार्ड लेके कहीं न कहीं धोखाधड़ी में इस्तेमाल किया जा रहा है।

तरीका वारदात:- आरोपी शशिकांत देवघर झारखण्ड से आधार कार्ड का डाटा लेता था । इसके बाद यह इन आधार कार्ड को चैक करता था कि किस आधार का पेनकार्ड बना है अथवा नहीं। जिनका पैन कार्ड नहीं बना होता है उसका पेनकार्ड को यह ऑफलाईन एप्लाई कर देता था। इसके बाद मुख्य आरोपी शशिकांत अपने साथी आरोपियों सपना, अंकित, कौशल माली, रोशन, रंजन एवं मोहम्मद टीटू की उम्र के आधार पर उन आधार पेन कार्ड में उनकी फोटो को लेपटॉप में फोटोशॉप के माध्यम से परिवर्तित कर देता था । इसके बाद कलर प्रिंटर से इन फर्जी तरीके से तैयार किये गये आधार एवं पैन कार्ड को प्रिंट कर लेता था। फर्जी रूप से तैयार किये गये आधार पैन कार्ड पर अपने साथियों के फोटो लगाकर भोपाल शहर में अलग-अलग दुकानों से सिमकार्ड को लेते थे फिर बैंकों में जाकर फर्जी बैंक खाता खुलवाते थे। शशिकांत इन्हें यह खाता खुलवाने के प्रति खाता 2000/- रूपये देता है। शशिकांत इन बैंक खातों को अन्य ठगों को 10000/- रूपये प्रति खाता के हिसाब से बेचता था तथा स्वंय भी इन खातों को उपयोग अपनी गैंग के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर आम लोगों को लोन दिलाये जाने के नाम पर एवं गेमिंग के जरिये साइबर ठगी करता था। इसके अलवा भी इन खाता को दुरउपयोग वित्तिय धोखाधडी किये जाने में करता था । इसके अलावा यह लोग पुलिस से पकड़ने से बचने के लिए 3-4 माह में शहर एवं लड़को को बदल देते है क्योंकि उसकी फोटो के आधार पर यह लगभग सभी छोटे बड़े बैंको में फर्जी तरीके से बैंक खाता को खुलवा चुके होते है । यह अभी तक लखनऊ, इंदौर, हैदराबाद में इस प्रकार से फर्जी बैंक खाता खुलवा कर कई घटनाओं को अंजाम दे चुके है।

पुलिस कार्यवाही:- अपराध पंजीबद्ध करने के बाद थाना स्तर पर टीम गठित कर मुखबिर सूचना पर इब्राहिमगंज में एक फ्लेट में दबिश दी गई जहां पर 6 पुरूष एवं एक महिला मिली जिन्होंने पूछतांछ में अपना नाम शशिकांत कुमार उर्फ मनीष, सपना उर्फ साधना, अंकित कुमार साहू उर्फ सुनील, कौशल माली उर्फ पंकज, रोशन कुमार, रंजन कुमार उर्फ विनोद एवं मोहम्मद टीटू उर्फ विजय बताया। पूछतांछ पर इनके कब्जें से बड़ी मात्रा में अपराध सदर में उपयोग किये गये फर्जी आधार कार्ड, पेनकार्ड, सिमकार्ड, बैंक पासबुक, मोबाईल फोन, लेपटॉप, प्रिंटर एवं कॉपी जप्त की गयी है। कार्यवाही उपरांत उपरोक्त सभी 6 आरोपी एवं 01 महिला आरोपी को गिरफ्तार किया गया।पुलिस अन्य आरोपियों की तलाश कर रही है।

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